<p> अगले महीने से खेतों में गन्ने की छिलाई शुरू हो जाएगी। सोनीपत शुगर मिल की मरम्मत का कार्य अब तक आधा भी नहीं हुआ है। इसके कारण गन्ना किसान चिंतित है। शुगर मिल में व्याप्त भ्रष्टाचार की वजह से किसानों को यह दिन देखना पड़ रहा है। इसके अलावा गन्ने का भाव भी कम मिल रहा है। जिससे किसानों की लागत भी नहीं निकल रही है। शुक्रवार को भारतीय किसान यूनियन के बैनर तले गन्ना किसानों ने लघु सचिवालय परिसर में विरोध प्रदर्शन किया। किसानों का आरोप है कि किसानों को गन्ने कम भाव दे रही है। पिछले साल मात्र 10 रुपए क्विंटल की बढ़ोतरी कर किसानों को शिगूफा दिया था। उन्होंने मांग की कि कम से कम 450 रुपए प्रति क्विंटल का भाव किसानों को दिया जाना चाहिए। ताकि किसानों की लागत और लाभ का अंतर मिल सके। सोनीपत में करीब 15 हजार एकड़ और गोहाना में 21 हजार एकड़ में गन्ने की खेती की जा रही है। जिसकी पेराई के लिए एक नवंबर से शुगर मिलों का सत्र शुरू करने की मांग की है। इसके अलावा भी लघु सचिवालय परिसर में किसानों ने कई अन्य मांगों को लेकर नारेबाजी की। </p>