जागरण संवाददाता, इलाहाबाद : गन्ना किसानों के बकाया भुगतान मामले में इलाहाबाद हाई कोर्ट ने मिलों को स्टाक की 15 फीसद चीनी बेंचने की अनुमति दे दी है। कोर्ट ने कहा है कि चीनी बेचने से होने वाली आय का 30 फीसद गन्ना किसानों को दिया जाय। शेष 70 फीसद राशि गन्ना मूल्य खाते में रिजर्व रखा जाय। 1कोर्ट ने गन्ना मिलों के खिलाफ उत्पीड़नात्मक कार्यवाही पर रोक लगा दी है। चीनी बेचने से मिलने वाली राशि की सीधी निगरानी जिलाधिकारी की होगी। याचिका की सुनवाई अब तीन सितंबर को होगी। कोर्ट मिलों को लोन देने वाले बैंकों का भी पक्ष सुनने के बाद मुद्दे पर अपना फैसला सुनाएगी। यह आदेश मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ तथा न्यायमूर्ति दिलीप गुप्ता की खंडपीठ ने राष्ट्रीय किसान मजदूर संगठन के अध्यक्ष सरदार बीएम सिंह की जनहित याचिका पर दिया है।जागरण संवाददाता, इलाहाबाद : गन्ना किसानों के बकाया भुगतान मामले में इलाहाबाद हाई कोर्ट ने मिलों को स्टाक की 15 फीसद चीनी बेंचने की अनुमति दे दी है। कोर्ट ने कहा है कि चीनी बेचने से होने वाली आय का 30 फीसद गन्ना किसानों को दिया जाय। शेष 70 फीसद राशि गन्ना मूल्य खाते में रिजर्व रखा जाय। 1कोर्ट ने गन्ना मिलों के खिलाफ उत्पीड़नात्मक कार्यवाही पर रोक लगा दी है। चीनी बेचने से मिलने वाली राशि की सीधी निगरानी जिलाधिकारी की होगी। याचिका की सुनवाई अब तीन सितंबर को होगी। कोर्ट मिलों को लोन देने वाले बैंकों का भी पक्ष सुनने के बाद मुद्दे पर अपना फैसला सुनाएगी। यह आदेश मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ तथा न्यायमूर्ति दिलीप गुप्ता की खंडपीठ ने राष्ट्रीय किसान मजदूर संगठन के अध्यक्ष सरदार बीएम सिंह की जनहित याचिका पर दिया है।